



राजस्थानी लोक, सूफी और क़व्वाली ने दर्शकों को किया मुग्ध

डीजे न्यूज, धनबाद:आईआईटी (आईएसएम) धनबाद में चल रहे शताब्दी स्थापना सप्ताह के दौरान शनिवार को पेनमैन ऑडिटोरियम में राजस्थान की कला और परंपरा का अनोखा रंग बिखरा, जब मशहूर लोक कलाकार भुंगर खान के नेतृत्व वाला 10 सदस्यीय दल ने जोरदार प्रस्तुति दी।
कार्यक्रम में राजस्थानी लोक गीत, सूफी, क़व्वाली और पारंपरिक नृत्य की ऐसी झलक देखने को मिली, जिसने दर्शकों को लगातार तालियां बजाने पर मजबूर कर दिया। भुंगर खान, जिन्हें उस्ताद बिस्मिल्लाह खान युवा पुरस्कार से सम्मानित किया जा चुका है, ने अपनी प्रसिद्ध खड़ताल वादन की कला से ऑडिटोरियम में ऊर्जा भर दी।
कार्यक्रम में दीप्ति लेडीज़ क्लब की अध्यक्ष सकुंतला मिश्रा मौजूद रहीं और उन्होंने कलाकारों की प्रस्तुति और संस्थान की सांस्कृतिक पहल की सराहना की।
भुंगर खान और उनकी टीम मारवाड़ के बारmer, जोधपुर और जैसलमेर क्षेत्र की लोक परंपराओं पर आधारित गीत प्रस्तुत करते हैं। उनका अंदाज़ तुरंत बोलों और तात्कालिक संगीत के साथ ऐसा माहौल बनाता है जो दर्शकों को राजस्थानी रेगिस्तान की भावनाओं से जोड़ देता है। हारमोनियम, ढोलक, कमैचा और खड़ताल जैसे पारंपरिक वाद्यों की धुनों ने कार्यक्रम को और भी जीवंत बनाया।
कॉर्पोरेट कम्युनिकेशंस की डीन प्रो. रजनी सिंह कार्यक्रम के दौरान मौजूद रहीं और पूरे सांस्कृतिक आयोजन का सफल समन्वय किया।
सेंटेनरी फाउंडेशन वीक के अंतर्गत आयोजित यह प्रस्तुति कार्यक्रमों की विविधता और भव्यता को और आगे बढ़ाते हुए, 9 दिसंबर को होने वाले 100वें स्थापना दिवस समारोह की तैयारियों को एक खास उत्साह से भर गई।
