सड़क चौड़ीकरण कार्य को लेकर त्रिपक्षीय वार्ता में नहीं बनी बात
सड़क चौड़ीकरण कार्य को लेकर त्रिपक्षीय वार्ता में नहीं बनी बात
डीजे न्यूज, पूर्वी टुंडी, धनबाद : गोविंदपुर-साहिबगंज सड़क चौड़ीकरण निर्माण कार्य में भूमि अधिग्रहण की समस्या एवं सड़क निर्माण कंपनी में 70 प्रतिशत स्थानीय लोगों को नियोजन देने की मांग को लेकर शुक्रवार को सड़क निर्माण कंपनी प्रबंधन, एनएच अधिकारी व अंचलाधिकारी के साथ रैयतों की बैठक प्रखंड कार्यालय सभागार में हुई। बैठक में भू अर्जन विभाग के पदाधिकारी को भी उपस्थित होना था परंतु विभाग की ओर से कोई भी अधिकारी या प्रतिनिधि बैठक में नहीं पहुंचे। इससे लोगों में आक्रोश दिखा। बैठक में फतेहपुर, हलकट्टा,लटानी, शंकरडीह, बलारडीह, बड़बाद सहित कई गांवों के प्रभावित दर्जनों रैयत व दुकानदार बैठक में शामिल थे। प्रभावित लोगों ने अभी तक मुआवजा भुगतान नहीं किए जाने एवं अधिग्रहित भूमि को स्पष्ट नहीं किए जाने पर नाराजगी जताई। मुआवजा भुगतान की प्रक्रिया के बारे में एनएच परियोजना पदाधिकारी विवेक नंदन ने बताया कि प्रभावित लोगों के साथ अनियमितता नहीं बरती जाएगी और एनएच के प्रावधानों के अनुसार ही कार्य किया जाएगा। मुआवजे की प्रक्रिया भू अर्जन द्वारा निर्धारित किया जाएगा। बैठक में लोगों ने कई प्रकार की समस्या बताई। लटानी गांव में एक ही स्थान पर सात एकड़ भूमि अधिग्रहण किए जाने एवं कई स्थानों पर पूर्व में सड़क निर्माण के दौरान अधिग्रहण भूमि का सीमांकन में भ्रम की स्थिति है। वहीं वर्तमान में भूमि अधिग्रहण के दौरान प्रभावित दुकानदारों को मुआवजे की स्थिति में भ्रम समेत लोगों ने कई समस्या बताई। उपस्थित पदाधिकारी ने सभी समस्याओं का उचित समाधान का आश्वासन दिया। अंचलाधिकारी देवराज गुप्ता ने बताया कि मामले को पूर्ण रूप से स्पष्ट करने के लिए अगली बैठक भू-अर्जन विभाग के अधिकारियों के उपस्थिति में की जाएगी।
अंत तक बैठक में मुआवजा एवं भूमि अधिग्रहण की स्थिति स्पष्ट नहीं होने के कारण रैयतों एवं एनएच पदाधिकारी के बीच गर्मागर्म बहस हुई और रैयतों ने बिना मुआवजा भुगतान के भूमि अधिग्रहण नहीं करने देने की बात कही। बैठक में रैयतों का नेतृत्व पूर्व राज्यसभा सांसद प्रतिनिधि बिदेश दां कर रहे थे। बैठक में सड़क निर्माण कार्य के साइड इंजिनियर श्रीकेश नारायण, सड़क निर्माण कंपनी प्रबंधन के प्रोजेक्ट मैनेजर सुभाष मिश्रा, अंचल अमीन राजकुमार आदि शामिल थे।