यूं ही नहीं जालान परिवार को कहा जाता रक्तवीर

0
IMG-20220521-WA0008

डीजे न्यूज, गिरिडीह : बड़ा चौक-टुंडी रोड पर स्थित शहर के व्यवसायी व समाजसेवी राजेश जालान का परिवार रहता है। यहां राजेश जालान एवं उनके भाई विकास जालान सपरिवार रहते हैं। गिरिडीह के लोग इस परिवार को रक्तवीर कहते हैं। जब भी किसी जरूरतमंद को रक्त की जरूरत होती है, लोग इस परिवार के पास पहुंचते हैं। राजेश जालान एवं उनके परिवार को लोग यूं ही नहीं रक्तवीर कहते हैं। आइए, हम आपको बताते हैं कि क्यों लोग इस परिवार को रक्तवीर कहते हैं। राजेश जालान व्यवसायी के साथ-साथसमाजसेवी भी हैं। रोटरी समेत विभिन्न संगठनों से जुड़े हैं। खेल संगठनों से भी इनका जुड़ाव है। आपको यह जानकर आश्वर्य होगा कि अकेले राजेश जालना अभी तक 75 बार से अधिक रक्तदान कर चुके हैं। इस मामले में उनके अनुज विकास जालान 40 बार से अधिक रक्तदान कर चुके हैं। राजेश जालान की पत्नी बेला जालान भी अपने पति के साथ रक्तदान मुहिम में जुड़ी हुई हैं। वह भी अब तक तीन बार रक्तदान कर चुके हैं। राजेश जालान के दो बेटे हैं और उच्च शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। उनके दोनों बेटे भी रक्तदान में पीछे नहीं हैं। उनके बड़े बेटे राहुल आठ बार और छोटे बेटे रोहन सात बार रक्तदान कर चुके हैं। राहुल और रोहन ने देवभूमि झारखंड न्यूज को बताया कि उनके पिता उनके रोल माडल हैं। बचपन से वह अपने पिता को
रक्तदान करते देखते आ रहे हैं। इसी से उन्हें भी रक्तदान की प्रेरणा मिली है। इधर राजेश जालान ने बताया कि उन्होंने वर्ष 1990 में पहली बार गिरिडीह के नवजीवन नर्सिंग होम में रक्तदान किया था। इसके बाद से ही रक्तदान का उनका सिलसिला चल पड़ा है। उन्होंने गिरिडीह के अलावा गुड़गांव, कोलकाता आदि शहरों में स्थित बड़े-बड़े अस्पतालों में जाकर रक्तदान किया है। राजेश जालान ने बताया कि रक्तदान प्राणदान से कम नहीं है। इसे दुनिया का सबसे बड़ा दान भी कहा जाता है। सभी को रक्तदान करना चाहिए।

इस खबर को शेयर करें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *