जयराम ने प्रत्याशी उतार गिरिडीह की लड़ाई को बनाया त्रिकोणीय
जयराम ने प्रत्याशी उतार गिरिडीह की लड़ाई को बनाया त्रिकोणीय
ग्रामीण क्षेत्रों में झामुमो प्रत्याशी विधायक सुदिव्य सोनू तो शहरी क्षेत्रों में भाजपा प्रत्याशी शाहाबादी को टेंशन देंगे टाइगर के प्रत्याशी नवीन चौरसिया, जागरूक जनता पार्टी की अनिशा सिन्हा भी लगा रहीं जोर
डीजे न्यूज, गिरिडीह : गिरिडीह विधानसभा क्षेत्र में पिछले तीन दशक से भाजपा और झामुमो के बीच कांटे की टक्कर होती रही है। 2019 के विधानसभा चुनाव में झामुमो के सुदिव्य कुमार सोनू ने भाजपा के निर्भय कुमार शाहाबादी को हैट्रिक लगाने से रोक दिया था। सोनू बड़े अंतर से चुनाव जीते थे।
पहली बार विधायक बने सुदिव्य कुमार सोनू अपने पांच साल के कार्यकाल में राज्य की राजनीति में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के सबसे विश्वस्त सहयोगी के रूप में जाने जाते रहे हैं। इसका फायदा भी उन्होंने गिरिडीह की जनता को कई सौगात देकर दिया है। एक बार फिर सुदिव्य सोनू और निर्भय शाहाबादी के बीच गिरिडीह विधानसभा क्षेत्र में आमने-सामने की लड़ाई होगी। दोनों की सेना सज चुकी है। नामांकन के साथ ही चुनावी जंग शुरू हो जाएगी। इधर राज्य की राजनीति में टाइगर के रूप में चर्चित जयराम महतो ने सुदिव्य सोनू और शाहाबादी की इस जंग को अपना प्रत्याशी उतारकर त्रिकोणीय जरूर बना दिया है। टाइगर की पार्टी जेएलकेएम ने गिरिडीह शहर के नवीन आनंद चौरसिया को अपना प्रत्याशी बनाया है। टाइगर का प्रत्याशी झामुमो के गढ़ पीरटांड़ में झामुमो के लिए तो चुनौती बनेगा ही गिरिडीह शहर में भाजपा को टेंशन देगा। यही कारण है कि नवीन चौरसिया की उम्मीदवारी से न तो झामुमो खुश है और न ही भाजपा। इसके अलावा जागरूक जनता पार्टी की अनिशा सिन्हा भी इस चुनाव में पूरा जोर लगा रही हैं। राधास्वामी संगठन की पूरी टीम चुनाव की घोषणा के पहले से ही अनिशा सिन्हा के चुनाव प्रचार में जुटी हुई है। इसके अलावा हैदराबाद के सांसद ओवैसी की पार्टी एआइएमआइएम भी यहां प्रत्याशी उतारने की तैयारी कर रही है।
यहां हम आपको याद दिला दें कि 2019 के विधानसभा चुनाव में गिरिडीह विधानसभा क्षेत्र में झामुमो के सुदिव्य कुमार सोनू को 80871 एवं भाजपा के निर्भय कुमार शाहाबादी को 64987 वोट मिले थे। वहीं बाबूलाल मरांडी की पार्टी झाविमो के चुन्नूकांत को 6903 वोट मिले थे। अब झाविमो का भाजपा में विलय हो चुका है।