शिक्षकों की मांगों पर शिक्षा सचिव से वार्ता, कार्रवाई का निर्देश
डीजे न्यूज, रांची : राज्य के आंदोलनरत प्राथमिक शिक्षकों की चार सूत्री मांगों को लेकर मंगलवार को शिक्षा सचिव के रवि कुमार के साथ अखिल झारखंड प्राथमिक शिक्षक संघ के प्रतिनिधिमंडल की वार्ता हुई। वार्ता काफी सकारात्मक हुई। शिक्षा सचिव ने मांगों पर सहमति जताते हुए कार्रवाई का निर्देश दिया।
विदित हो कि
शिक्षकों के लिए सुनिश्चित वृति उन्नयन योजना लागू करने, छठे वेतन के वेतन निर्धारण की विसंगति को दूर करने, अंतरजिला स्थानांतरण नियमावली को व्यापक रूप देने और शिक्षकों को लिपिकीय और गैरशैक्षणिक कार्यों से शिक्षकों को दूर करने की चार सूत्री मांगों को लेकर विगत नवंबर माह से आंदोलनरत है।
सुनिश्चित वृति उन्नयन योजना को लागू करने की मांग पर सहमति जताते हुए शिक्षा सचिव ने कहा कि फरबरी–मार्च तक एमए सीपी के प्रावधानों को शिक्षकों के लिए लागू कराने की कार्रवाई को मूर्त रूप दिया जाएगा।
छठे वेतन के वेतन निर्धारण की विसंगति को दूर करने के संघ की मांग पर प्रस्ताव वित्त विभाग को भेजा जाएगा।
अंतरजिला स्थानांतरण नियमावली में संशोधन कर अपने गृह जिले से सुदूर पदस्थापित शिक्षकों को एक बार उनके गृह जिले में पदस्थापित होने का अवसर प्रदान करने के संघ की मांग पर शिक्षा सचिव ने सहमति जताई। संघ के द्वारा 1994 के प्रावधानों को पुनर्बहाल करने के सुझाव पर भी सचिव ने स्वीकृत करने योग्य माना। इस संबंध में नियमावली संशोधन की कार्रवाई दिव्यांग, महिला,बीमार शिक्षकों के अंतरजिला स्थानांतरण की प्रक्रिया पूर्ण होते ही शुरू कर दी जाएगी, ताकि दिव्यांग, बीमार और महिलाओं के स्थानांतरण की प्रक्रिया बाधित ना हो।
लिपिकीय और गैर शैक्षणिक कार्यों से मुक्त करने की बात पर शिक्षा सचिव ने कहा कि इस पर कार्रवाई प्रारंभ कर दी गई है। एमडीएम चावल उठाव से मुक्ति इस और पहला कदम है। कल्याण विभाग के कार्यों में शिक्षको के संलिप्त किया जाने पर शिक्षा सचिव ने नाराजगी जताई। कहा कि इस संबंध में उनके द्वारा कल्याण विभाग से बात की गई है। शिक्षकों को इसमें संलिप्तता पर अपनी आपत्ति से अवगत कराते हुए शिक्षकों को अलग करने की बात कही है। खाद्य आपूर्ति विभाग सहित अन्य किसी भी विभाग के कार्यों में शिक्षकों को लगाए जाने को समाप्त कराने की दिशा में कार्य करने की बात कही। वार्ता के बीच में ही सरायकेला खरसावां के जिला शिक्षा अधीक्षक को फोन करके शिक्षा सचिव ने शिक्षकों को जन्म मृत्यु प्रमाण पत्र निर्माण काम में लगाए जाने पर रोष व्यक्त करते हुए इसे अविलंब रद्द करने का निर्देश दिया। इसके अतिरिक्त सभी प्रकार के गैर शैक्षणिक कार्यों से अलग करने के लिए कदम उठाने की बात कही।
इसके अतिरिक्त शिक्षा सचिव को युक्तिकरण की विसंगतियों से भी अवगत कराया गया। जिसपर विभाग स्तर पर विचार करने की बात शिक्षा सचिव ने कही। ई विद्यावाहिनी की खामियों की ओर भी संघ ने ध्यानाकृष्ट कराया।
प्रतिनिधिमंडल में संघ के प्रदेश अध्यक्ष बृजेंद्र चौबे, महासचिव राममूर्ति ठाकुर, उपाध्यक्ष दीपक कुमार दत्ता, प्रवक्ता नसीम अहमद, कोषाध्यक्ष संतोष कुमार, अजय ज्ञानी, राकेश कुमार, मानिक प्रसाद सिंह शामिल थे। यह जानकारी संघ के धनबाद जिलाध्यक्ष संजय कुमार व वरीय उपाध्यक्ष राजकुमार वर्मा ने दी है।