भाजपा भी आदिवासी व संविधान विरोधी : सालखन मुर्मू

0
IMG-20221101-WA0000

डीेजे न्यूज, रांची : आदिवासी सेंगेल अभियान के राष्ट्रीय अध्यक्ष व पूर्व सांसद सालखन मुर्मू ने नगर निकाय चुनाव को लेकर झामुमो, कांग्रेस के साथ-साथ भाजपा पर जमकर हमला किया है। तीनों पार्टियों को संविधान एवं आदिवासी विरोधी करार दिया है। सालखन मुर्मू ने कहा है कि
देश और प्रदेश, संविधान कानून से चलता है। मगर लगता है झारखंड प्रदेश इसका अपवाद है। वर्तमान संदर्भ झारखंड में नगर निकाय चुनाव और उससे जुड़े संवैधानिक और कानूनी पहलू हैं। भारतीय संविधान के अनुच्छेद 243 जेडसी के तहत पांचवी अनुसूची के अधीन शेड्यूल एरिया में नगर निकाय चुनाव वर्जित है। जब तक उसमें संविधान के अनुच्छेद 243 जेडसी(1) के तहत संसद अनिवार्य संशोधन लाकर पेसा पंचायत कानून-1996 की तरह नगर निकाय चुनाव का शेड्यूल एरिया में विस्तारीकरण कानून पारित नहीं करती है। अतः यह संविधान का प्रथम दृष्टया उल्लंघन है।

दुर्भाग्य झारखंड का ब्यूरोक्रेसी और चुनाव आयोग से जुड़े वरिष्ठ पदाधिकारियों को इसकी समझ है या नहीं ? या चूँकि मामला आदिवासियों से जुड़ा हुआ है, तो शायद उनके बीच संवेदनशीलता की कमी स्वभाविक है। संवेदनहीन बने हुए हैं। इस मामले को झारखंड के राज्यपाल को भी गंभीरता से देखना जरूरी है। क्योंकि महामहिम राज्यपाल पांचवी अनुसूची क्षेत्र और अनुसूचित जनजाति क्षेत्रों के अभिभावक हैं, प्रोटेक्टर हैं। राष्ट्रपति को इसकी जानकारी दे दी गई है।

सर्वाधिक दुर्भाग्यपूर्ण विडंबना यह है कि झारखंड में कार्यरत बड़ी राजनीतिक दल- झारखंड मुक्ति मोर्चा, कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी आदि भी इस गंभीर संवैधानिक और कानूनी मामले पर अपनी समझ और प्रतिक्रिया व्यक्त करने के बदले केवल चुनाव में भाग लेने की आपाधापी में जुट गए हैं। इन्हें भी संविधान कानून और आदिवासी हितों से कोई लेना देना नहीं है। लेना देना है तो केवल वोट और नोट से। जो दुखद एवं चिंता का विषय है। अंतत: अबुआ दिशोम अबुआ राज का हाल बेहाल है। अतः आदिवासी समाज को खुद एकजुट संघर्ष का रास्ता अपनाना होगा।

हेमंत सरकार द्वारा अवैध मकानों को वैध बनाने की घोषणा भी जंगल राज को स्थापित करने जैसा है। इससे सीएनटी-एसपीटी कानून के अपराधियों को चोर दरवाजा मिल जायेगा। लगता है झारखंड में संविधान और आदिवासियों के प्रति सभी बड़ी पार्टियां बेकार हैं। आदिवासी बिरोधी हैं।

इस खबर को शेयर करें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *