पीरटांड़ के मजदूरोंं को अवैध कोयला उत्खनन में उतार रहे बाघमारा के माफिया
डीजे न्यूज, तोपचांची, धनबाद : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के कड़े रुख के बाद भी राज्य में कोयले एवं खनिज संपदा की अवैध खनन एवं उसके कारोबार रूकने के नाम नहीं ले रहा है। रोजाना बाइक एवं अन्य वाहनों से डिपो में कोयला पहुंच रहा है। बाघमारा कोयलांचल में कोयले का अवैध खनन व्यापक रूप में जारी है। इस अवैध धंधे में उग्रवाद प्रभावित गिरिडीह जिले के पीरटांड़ समेत कई अन्य क्षेत्रों के मजदूरों को लगाया गया है। इससे ऐसे मजदूरों के हादसे का शिकार होने का खतरा है। सरकार को इस पर समय रहते कार्रवई करना चाहिए। माफिया गरीब एवं लाचार मजदूरों को थोड़ा लोभ में कोयले की अवैध खनन कार्य में लगा देते हैं। शाम को पीरटांड से गरीब मजदूर यहां पहुंचते हैं। रात में कोयले की अवैध खनन कर सुबह अपने घर के लिए चले जाते हैं। सबसे बड़ी बात है कि इस अवैध धंधे को रोकने के लिए मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को कड़े निर्देश दिए हैं। बावजूद खुलेआम इस आदेश की धज्जियां उड़ाई जा रही है। इस अवैध खनन एवं कारोबार से ज्यादा परेशानी आम जनता को हो रही है। उन्हें जलावन के लिए कोयले की किल्लत हो गया है। परेशानी इस बात की है कि सरकार ने रसोई गैस सिलेंडर की कीमत बढ़ा दी है। उज्जवला योजना सिलेंडर घरों में शोभा बढ़ा रही है। कोयले की कमी एवं गैस सिलेंडर की कीमत की बढ़ोतरी लोगों की नई मुसीबत बन गई है। इस अवैध खनन एवं कारोबार से लोग परेशान दिख रहे हैं।