तिसरी की बेटी अंजली सेना में हुई चयनित
तिसरी की बेटी अंजली सेना में हुई चयनित
आईटीबीपी में चयनित होकर रचा इतिहास
डीजे न्यूज, तिसरी, गिरिडीह : तिसरी की बेटी अंजली कुमारी ने आईटीबीपी की रिटेन परीक्षा और शारीरिक दक्षता परीक्षा में उत्तीर्ण होकर आईटीबीपी में चयनित होने का गौरव हासिल किया है। अंजली तिसरी प्रखंड की पहली बेटी है, जो सेना में बहाल हुई है।
अंजली, तिसरी प्रखंड के भोक्ताडीह गांव के निवासी माथुर यादव और मंजू देवी की होनहार पुत्री है। उन्होंने फोर्स में चयनित होकर अपने माता-पिता सहित पूरे तिसरी प्रखंड का नाम रोशन किया है। आईटीबीपी में चयन होने से उनके पैतृक गांव भोक्ताडीह में रविवार को ग्रामीणों ने भव्य तरीके से उनका स्वागत किया। इस खुशी के मौके पर ग्रामीणों ने भोक्ताडीह गांव में भव्य जुलूस निकाला और अंजली को माला पहना कर सम्मानित किया। इस दौरान गांव में एक साथ होली और दिवाली का नजारा देखने को मिला। लोगों ने एक दूसरे को अबीर लगाकर और आतिशबाजी कर खुशी का इजहार किया।
आईटीबीपी, यानी इंडिया तिब्बत बॉर्डर पुलिस, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल की एक शाखा है, जो उच्च ऊंचाई वाले अभियानों में दक्षता रखती है। यह फोर्स भारत और चीन की सीमा पर तैनात रहती है। अंजली कुमारी एक गरीब परिवार से आती हैं। उनके पिता माथुर यादव जमुआ में होटल चलाते थे, लेकिन उनका दो साल पहले देहांत हो गया। गरीबी के बावजूद अंजली ने सरकारी विद्यालय से मैट्रिक और इंटर की पढ़ाई पूरी की और महिला कॉलेज गिरिडीह से ग्रेजुएशन की। अंजली को बचपन से ही आर्मी में जाने की ललक थी। इसी जज्बे ने उन्हें विपरीत परिस्थितियों में भी पढ़ाई जारी रखने के लिए प्रेरित किया और यूट्यूब से पढ़ाई करके आईटीबीपी की परीक्षा में सफलता पाई।
अंजली कुमारी अपनी सफलता का श्रेय अपनी मां मंजू देवी, पिता माथुर यादव और अपने भाइयों को देती हैं। उन्होंने कहा कि वह बचपन से ही डिफेंस की फिल्में देखती थीं, जिससे प्रेरित होकर उन्होंने आर्मी में जाने का निर्णय लिया।
अंजली ने क्षेत्र की लड़कियों से अपील की कि वे भी उच्च शिक्षा प्राप्त कर डिफेंस या किसी अन्य नौकरी में बहाल होकर क्षेत्र का नाम रोशन करें। उन्होंने अभिभावकों से गुहार लगाते हुए कहा कि वे अपनी बेटियों की कम उम्र में शादी न करके उन्हें पढ़ाई का अवसर दें।
मौके पर सहदेव यादव, अभिमन्यु यादव, जागेश्वर यादव, केवल यादव सहित भारी संख्या में गांव की महिला और पुरुष जुलूस में शामिल थे।