खसरा और रूबेला के रोकथाम के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों को किया प्रशिक्षित
खसरा और रूबेला के रोकथाम के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों को किया प्रशिक्षित
डीजे न्यूज, गिरिडीह : समाहरणालय सभागार कक्ष में खसरा एवं रूबेला संक्रमण से बचाव एवं रोकथाम को लेकर एमआर अभियान के सफल क्रियान्वयन को लेकर वर्ल्ड हेल्थ आर्गेनाईजेशन के चिकित्सक डॉ अमित कुमार तिवारी के द्वारा प्रजेंटेशन के माध्यम से सभी अधिकारियों को जानकारी उपलब्ध कराई गई। उन्होंने कहा कि एक राष्ट्रव्यापी अभियान के अन्तर्गत खसरा तथा रूबैला के प्रति सुरक्षा प्रदान करने के लिए खसरा-रुबैला (एम.आर.) का एक टीका स्कूलों तथा आउटरीच सत्रों में आरम्भ किया जाएगा। इस एम.आर. टीके को बाद में नियमित टीकाकरण में शामिल कर लिया जाएगा। यह महत्वपूर्ण है कि इस अभियान के अन्तर्गत 9 माह से 15 वर्ष तक के आयु वर्ग के बच्चों को यह टीका लगाया जाएगा, भले ही पहले उन्हें एम आर / एम.एम.आर. का टीका दिया जा चुका हो। मूल कारण खसरा रोग के सफाये तथा रुबैला को नियंत्रित करने के लिए 9 माह से 15 वर्ष तक के बच्चों को यह टीका दिया जाना अत्यावश्यक है।
खसरा:- खसरा एक जानलेवा रोग है जोकि वायरस द्वारा फैलता है। बच्चों में खसरे के कारण विकलांगता तथा असमय मृत्यु हो सकती है।
रुबैला:- रुबैला एक संक्रामक रोग है जो वायरस द्वारा फैलता है। इसके लक्षण खसरा रोग जैसे होते हैं यह लड़के या लड़की दोनों को संक्रमित कर सकता है। यदि कोई महिला गर्भावस्था के शुरुआती चरण में इससे संक्रमित हो जाए तो कंजेनिटल रुबैला सिंड्रोम (सी.आर.एस) हो सकता है जोकि उसके भ्रूण तथा नवजात शिशु के लिए घातक सिद्ध हो सकता है।
आज के कार्यक्रम में उप विकास आयुक्त, सिविल सर्जन, जिला समाज कल्याण पदाधिकारी, जिला जनसंपर्क पदाधिकारी, जिला कृषि पदाधिकारी, जिला आपूर्ति पदाधिकारी, सभी अनुमंडल पदाधिकारी, सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी, सभी संबंधित अधिकारी व कर्मी उपस्थित थे।